Jaane 7 Chamatkari Yantra ke bare me, Siddh karke paaye Manwanchhit Fal.

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जाने ७ चमत्कारी यंत्र के बारे में, सिद्ध करके पाये मनवांछित फल

Yantra

आज हम आपकों कुछ ७ यंत्रों के बारे में बताने जा रहे हैं। जिसको अपने घर के पूजा स्थल पर स्थापित करके और विधि-विधान पूर्वक से सिद्ध कर के अपने हर मनोकामनाओं को पूर्ण कर सकते है। इसी क्रम में तंत्र शास्त्र में विस्तार से उल्लेखनीए है कि हम शास्त्र के अनुसार विभिन्न मंत्रोंयंत्रों का उपयोग किया जा सकता है। इसमें बताये गये यंत्र बहुत ही शक्तिशाली होते है। अगर इन यंत्रों को एक बार सिद्ध कर लिया जाये तो आपकी हर मनचाही मनोकामनाओं में सफलता पाई जा सकती है। बता दें कि ये विशेष यंत्र देवी-देवताआें को प्रसन्न करने की तथा ग्रहों को अनुकूल करने की शक्ति भी रखते हैं। इन यंत्रों को बनाने के लिए एक खास कागज, कलमस्याही का इस्तेमाल किया जाता है। शुभ मुहूर्त में बनाए गए यंत्र शुभ प्रभाव देते हैं। ऐसे ही ७ यंत्र है जिसे सिद्ध करके मनचाही सफलता पाया जा सकता है। जो निम्नवत् है:-

१. संतान गोपाल यंत्र(संतान न होने वाले दम्पत्तियों के लिए अचूक यंत्र)-Santan Gopal Yantram

इस यंत्र की साधना अत्यन्त प्रसिद्ध है जिन्हें संतान नहीं होती, वे लडडू गोपाल की मूर्ति के साथ संतान यंत्र स्थापित करते हैं तथा उनके सामने संतान गोपाल स्तोत्र का पाठ करते हैं। इससे योग्य संतान की प्राप्ति होती है। इसे गुरू पुष्य नक्षत्र में स्थापित करना चाहिए। इसके बाद संतान गोपाल स्तोत्र का पाठ करना चाहिए। अगर आप इस यंत्र को गोशाला में करें तो इसका प्रभाव और भी बढ़ जाता है। ऐसा करने से शीघ्र ही योग्य संतान की प्राप्ति होती है।

२. महाकाली यंत्र-

Mahakali Yantra

प्रतिदिन सुबह जल्दी उठकर स्नान आदि करके साफ वस्त्र पहनकर अपने सामने इस यंत्र को रखकर ॐ क्रीं कालीकायै नम: मंत्र का जाप करते हुए यंत्र की पूजा करें। ऐसा करने से फल स्वरूप वाद-विवाद, मुकदमें में जीतने के लिए, किसी भी प्रकार के युद्ध, शास्त्रार्थ में सफलता मिलती है। इसके साथ ही साथ साधक की हर मनोकामनाओं की पूर्ति भी हो जाती है एवं अत्याचारी शत्रु से रक्षा मिलती है। इसका उल्लेख यंत्र शास्त्र मे एक महाशक्तिशाली यंत्र महाकाली यंत्र का बताया गया है।

३.चंद्र यंत्र(कुण्डली में चंद्रमा दोष दूर करने हेतू)-

Chandra-Yantra

शुक्ल पक्ष के किसी सोमवार या पूर्णिमा पर शुभ मुहूर्त देखकर चंद्र यंत्र की अपनी घर के पूजा मंदिर में स्थापना करें। यह यंत्र सभी प्रकार के भय नष्ट करता है और शारीरिक स्वास्थ्य देता है। अगर आपके कुण्डली में चंद्रमा अशुभ है तो उस जातक को इस चंद्र यंत्र के सहायता से कुण्डली में चल रहे अशुभ चंद्रमा को अनुकूल  कर के शुभ फल पा सकते है। इन्हें एक और विधी-विधान से भी शीघ्र प्रसन्न कर सकते है। अगर इस यंत्र के साथ भगवान शिव की भी पूजा की जाये तो चंद्रमा जल्द ही प्रसन्न हो जाते है। क्योंकि भगवान शिव ने इन्हें अपने मस्तक पर स्थान दिये है। इस क्रम में की गई पूजा से प्रसन्न हुए चंद्रमा व्यापार-व्यवसाय तथा नौकरी आदि में शीघ्र सफलता प्रदान करता है। साथ ही साथ समाज में उन्नति प्राप्त होती है तथा हर कार्यों में किसी भी प्रकार की बाधा उत्पन्न नहीं होती हैं।

४. बगलामुखी यंत्र(शत्रुओं पर विजय दिलाने हेतू यंत्र)-

Bagla Mukhi Yantra

मंत्र ‘‘ॐ ह्लीं श्रीं ह्लीं पीताम्बरे तंत्र बाधाम नाशय नाशय’’ इस मंत्र को ३६ हजार की संख्या में जाप करने से शत्रुओं का किया गया तंत्र-मंत्र आदि टोटके नष्ट हो जाते हैं और साधक की हर मनोकामना पूरी हो जाती है। इस जाप को करने से पूर्व साधक को पीले वस्त्र पहनने चाहिए और मंत्र का जाप करने के लिए हल्दी की गाठ की माला का इस्तेमाल करना चाहिए। इस दौरान बगलामुखी यंत्र आपके सनमुख होना चाहिए। जिसके बाद किया गया जाप सफल और पूर्ण माना जाता है।

५. सूर्य यंत्र-

Surya Yantra

यदि किसी व्यक्ति की कुण्डली में सूर्य अशुभ हो तो उसे हर काम में असफलता ही हाथ लगती है, न ही उसे अपने कर्मों का यश मिलता है और न ही सम्मान। ऐसे में कई बार वह व्यक्ति निराशा में डूब जाता है। यंत्र शास्त्र के अनुसार, ऐसी स्थिति में यदि सूर्य यंत्र का विधि-विधान पूर्वक पूजन किया जाए तो शीघ्र ही शुभ फल मिलने लगते हैं। इस यंत्र की स्थापना रविवार या किसी शुभ मुहूर्त में करना चाहिए। सबसे पहले सुबह उठकर नित्य कर्मोंं से निपटकर सूर्य देव को प्रणाम करें। इसके बाद इस यंत्र को गंगाजल गाय के दूध से पवित्र करें। अब इस यंत्र का विधिपूर्वक पूजन करने के बाद सूर्य मंत्र का जाप करना चाहिए।
मंत्र- ॐ घृणि सूर्याय नम:। 
जाप करने के बाद इस यंत्र की स्थापना अपने पूजन स्थल पर कर दें तथा प्रतिदिन इस यंत्र का पूजन-पाठ करें। इस प्रकार इस यंत्र का पूजन करने से शीघ्र ही सूर्य संबंधी होने वाली समस्याएं समाप्त हो जाती हैै।

६.व्यापार वृद्धि यंत्र-

Vyapar-Vridhi-Yantra

इस यंत्र को शुक्ल पक्ष के किसी भी रविवार को अपने दुकान अथवा ऑफिस जहां से आप व्यवसाय करते हों वहां के पूजा स्थल में तुलसी के रस में चमेली की लकड़ी की कलम के द्वारा भोजपत्र पर लिखें और स्थापित करें। इसके बाद आप इसकी विधि-विधान पूर्वक पूजन करें। यह यंत्र बिजनेस में सफलता दिलाता है। यह यंत्र दुकान में चोरी, अग्निकांड आदि भय को भी समाप्त करता है। और रूके व्यापार में वृद्धि करता है। और इस यंत्र से व्यापार में तो लाभ होता ही है साथ ही व्यापार में हानि पहुंचाने वाले भी अनुकूल हो जाते है।

७. दुर्गा बीसा यंत्र(विपत्तियों से बचाव हेतू यंत्र)-

Durga Bisa Yantra

यह यंत्र शक्ति का प्रतीक माना जाता है। यदि इस यंत्र को रोज पूजा कर अपने सिरहाने रखा जाये तो कभी भी बूरे सपनें नही आते है। इसे सिद्ध करने के लिए शुभ मुहूर्त में हनुमान चालीसा का १०८ बार पाठ करना चाहिए। ऐसा करने से आपको सारे समस्याओं से छुटकारा मिल जाता है। इसके बारे में कहा जाता है किे यह दुर्गा बीसा यंत्र परेशानिया से बचने, झगड़ा, लड़ाई, चोर भय, अग्नि भय इत्यादि से बचने के लिए पर्स में या जेब में रखे तो शुभ फल मिलता है।

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